बाबा साहेब डॉ अंबेडकर जयंती पर मंच संचालन स्क्रिप्ट । Anchoring script for ambedkar Jayanti
बाबा साहेब डॉ अंबेडकर जयंती पर मंच संचालन स्क्रिप्ट – एंकरिंग के सभी महारथियों को अमित मौलिक का सप्रेम अभिवादन। मित्रों, अगले सप्ताह Sutrday 14 अप्रैल को अंबेडकर जयंती है। हमारे देश में यत्र-तत्र पूरी भव्यता के बाबा साहेब अंबेडकर की जयंती मनाई जाती है। जय भीम जय भीम के नारों से आसमान गुंजायमान हो जाता है। ढेरों मंचीय कार्यक्रम होते हैं। मेरे कुछ पाठकों ने बाबा साहेब डॉ अंबेडकर जयंती पर मंच संचालन स्क्रिप्ट पब्लिश करने का आग्रह किया है इसलिये यह आर्टिकल आपके समक्ष प्रस्तुत है। आशा है कि इस आर्टिकल से आप सबको थोड़ी बहुत मदद अवश्य मिलेगी।
इस आर्टिकल के साथ बाबासाहेब डॉ आंबेडकर जयंती स्पेशल एक youtube वीडियो भी दिया गया है जो कि मेरे ही यूट्यूब चैनल मौलिक मंच MaulikManch channel के द्वारा प्रस्तुत किया गया है। आप सब से अनुरोध है कि इस अद्भुत वीडियो को ज्यादा से ज्यादा शेयर करें एवम लाइक करें। साथ ही इस चैनल को subscribed बटन दबा कर इसे सब्सक्राइब भी कर लें जिससे आपको मेरे इसी प्रकार के शानदार वीडिओज़ की सूचना समय पर मिलती रहे।
बाबा साहेब डॉ अंबेडकर जयंती
पर मंच संचालन स्क्रिप्ट
एंकर मेल – भारत रत्न, प्रखर मर्मज्ञ, संविधान प्रणेता माननीय बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर जी की जयंती पर मैं……………. संस्था …………..की तरफ से आप सब को हृदय से शुभकामनायें देता हूँ-बधाइयाँ प्रेषित करता हूँ।
मित्रो आज का यह दिन, महज़ एक सामान्य दिन नहीं है। आज के दिन संपूर्ण विश्व की, अपने समय की सिरमौर हस्ती, डॉक्टर भीमराव अंबेडकर जी का अवतरण हुआ था। चार पंक्तियों के साथ महामना बाबा साहेब को नमन करना चाहता हूँ कि..
अंतर हो ऐसा स्पंदन, ऐसे शिवरूप कहाँ मिलते
यूँ द्रवित हृदय यूँ संवेदन, ऐसे अवधूत कहाँ मिलते
शोषित दमितों के क्रंदन को, हुंकारों में जो बदल सके
बाबा साहेब से इस युग में, ईश्वर के दूत कहाँ मिलते।
एक बार जोरदार करतल ध्वनि के साथ महामना बाबा साहेब को श्रद्धा सुमन अर्पित कर दीजिये। जोरदार तालियाँ।।। धन्यवाद।
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मित्रो, सचमुच गज़ब की शख्सियत थे हमारे बाबा साहेब। छुआछूत का दंश झेल रहे वंचित तबके के परिवार के बाबा साहेब, जिनको विद्यालय में सवर्ण तबके के बच्चों से अलग बिठाया जाता था, जिनको विद्यालय के घड़ों से स्वयँ पानी पीने की अनुमति नहीं थी, ऐसे बालक भीमराव ने उसी समय इस भेदभाव की व्यवस्था के खिलाफ लड़ने का सोच लिया था।
मित्रो, वो कहते हैं ना कि ज़िद करो दुनिया बदलो। इंसानी ज़िद और ज़िद की जीत की इससे बड़ी क्या मिसाल दी जा सकती है कि एक गरीब और अछूत कहे जाने वाले परिवार के बच्चे ने देश और विदेश से पी एच डी, डी लिट् से लेकर बार एट लॉ तक की 32 प्रकार की डिग्रियां अर्जित कीं, वंचितों को समाज की मुख्यधारा में लाये, सविंधान की रचना की, भारत में सर्वाधिक प्रासंगिक साहित्य के रचयिता नेता कहलाये।
ऐसी महान शख्सियत के हौसलों को नमन करते हुये, ज़नाब राहत इंदौरी जी की चार पंक्तियाँ उन्हें समर्पित करता हूँ कि..
कभी महक की तरह हम गुलों से उड़ते हैं
कभी धुएं की तरह पर्वतों से उड़ते हैं
ये केंचियाँ हमें उड़ने से खाक रोकेंगी
की हम परों से नहीं हौसलों से उड़ते हैं।
और सच भी है मित्रो, ऐसे ही थे बाबा साहेब। उनके हौसलों के आंगे तो आसमाँ की ऊँचाई भी कम पड़ गई थी। मेरी ज़ुबान थक जायेगी लेकिन उनकी उपलब्धियों की फ़ेहरिस्त समाप्त नहीं होगी। तो आइये मित्रो, ऐसे युग पुरुष बाबा साहेब श्री भीमराव अंबेडकर जी की जन्म जयंती के उपलक्ष्य में आयोजित आज के कार्यक्रम का शुभारंभ करते हैं।
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इस महाआयोजन में पधारे हमारे गणमान्य अतिथियों को प्रणाम करते हुये उनका अभिनंदन करता हूँ। इस कार्यक्रम में पधारे सभी गणमान्य नागरिकों को एवम विराजित मातृ शक्ति को नमन करते हुये आज के कार्यक्रम को एक मधुर तम, प्रभु चरणों में समर्पित ओजमयी श्रीगणेश वंदना के साथ आरम्भ करने के लिये श्रीमति……………एवम श्रीमति……… को मंच पर आमंत्रित करता हूँ कि वो आएं और मंगल गान प्रस्तुत कर इस सभागृह को मंगलमय करें।
( गणेश वंदना का समापन) जोरदार तालियों की ध्वनि करके भगवान गणपति से मंगल कामना करेंगे। धन्यवाद।
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मित्रो, अगला क्रम दीप प्रज्ज्वलन का है। हम वातावरण की कलुषता, विचारों की नकारात्मकता, मन की उद्धिग्नता और हमारी अज्ञानता से उपजे तम की विराधना के लिये दिव्य ज्योति का आह्वाहन करते हैं। मैं बाबा साहेब के चित्र के समक्ष दीप प्रज्ज्वलन के संपादन के लिये हमारे आज के कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि…..(संस्था का नाम)….के…..(पद)….माननीय श्री……..जी को इन दो पंक्तियों के साथ मंच पर आमंत्रित करना चाहता हूँ कि..
जैसे नींद से बहार जागी हो
जैसे धुंध को धूप का संग भा गया
आप आये तो महफ़िल यूँ खिल उठी
जैसे दुआ में असर सजदों में रंग आ गया।
जोरदार करतल ध्वनि माननीय श्री……..जी के लिये। मैं हमारी संस्था……….. के…(पदाधिकारी)..से अनुरोध करता हूँ कि वो हमारी Dignity को मंच तक ससम्मान ले के आएं।
अब मैं आदर के साथ आमंत्रित करना चाहता हूँ, आज के कार्यक्रम के अध्यक्ष जी को। जी हां दोस्तों सही पहचाना आपने। विराट व्यक्तित्व के स्वामी, हम सब की प्रेरणा, विद्वत श्रेष्ठ, ………….के………….पर आसीन, माननीय श्री…………जी को चार पंक्तियाँ समर्पित करते हुये उन्हें मंच पर आमंत्रित करता हूँ की…
दिल डूब-डूब जाता था उम्मीद जगती ना थी
हथेली पर गुलाब खिला दें यूँ हमारी हस्ती ना थी
हम कैसे शुक्रिया आभार उपकार कहें आपका
अगर आप ना आते तो यूँ सुबहा महकती ना थी।
आंगे पढ़ने के लिये पेज न.2 जायें👇
स – आदर नमस्कार,अमित जी।
सम्मान और तारीफ आपके हुनर की,और कोटि कोटि धन्यवाद आपको।
आपने बात को तवज्जो देते हुए युग पुरुष बाबा साहेब डॉ.भीम राव अम्बेडकर जयंती पर आलेख लिखा।वास्तव में आपने विचारों की असीम गहराईयों में जा कर आलेख में जो मोती सजाएँ है वह अवर्णनीय तारीफ योग्य है।निश्चित ही आपका आलेख मुझे और प्रोत्साहित करेगा।भविष्य में इन्ही स्फूर्ति और प्रेरणा दायक आलेखों की आपसे आशा करते हुए ढेरों शुभकामनाओं सहित………….
मुकुल कान्त सोनिया
बहुत शुक्रिया मुकुल जी। निश्चित ही आप एक बेहतरीन एंकर हैं। आपकी भाषा शैली और शाब्दिक चयन बहुत ही उत्तम है। आप anchoring में शिखर को छुएं ऐसी शुभकानायें हैं। आभार।
धन्यवाद अमित जी, मैं तो अदना सा हूँ आपके समक्ष।पर आपकी शुभकामनाएं बड़ी हिम्मत देंगी।और आपका मार्गदर्शन मुझे प्रेरित करेगा निरंतर अच्छा,अच्छा,और अच्छा करने की। बहुत शुक्रिया।
मंच संचालन से जुड़ी आपने बहुत ही अच्छी जानकारी प्रस्तु त की इसके लिए आपका बहुत बहुत धन्यवाद।
बहुत बहुत शुक्रिया जमशेद जी। बहुत बहुत आभार आपका।
आपने भारत रत्न,संविद्यान निर्माता ,नारी उद्धारक बाबा साहब डॉ भीम राव पर आलेख लिखा इसके लिए आपको हृदय तल की गहराईयो से धन्यवाद ।
उम्मीद करता हूँ की बाबा साहब पर ऐसे ही प्रेरक लेख आप आगे भी लिखते रहेंगे।
बहुत बहुत धन्यवाद अजय जी। आपके प्रोत्साहन से ऊर्जा मिली। बहुत आभार। उड़ती बात से जुड़े रहें।
बहुत खुबसुरत मंच के अधीन आपने बहुत अच्छे विचार प्रकट किये आपको बहुत बहुत धन्यवाद कि आपसे हमको बहुत कुछ सिखने को मिले
आपका बहुत बहुत आभार मनीष जी। बहुत बहुत शुक्रिया प्रोत्साहन के लिये।
आपने बहुत ही अच्छी मंच सञ्चालन विधि के माध्यम से बाबा साहेब के लिये जो अछूती कड़ियों की झड़ी बनाई है उसके लिए मैं आपको ह्रदय तल से शुक्रिया देना चाहता हूं और हो सके तो मुझे बाबा साहेब के सम्बन्ध में कुछ पंक्तिया आज संध्या (12-04-2017) तक जरूर लिख भेजेआपका आभार प्रकट करते आपसे हमेशा कुछ सीखने वाला एक ‘learner’
Email id address: [email protected], [email protected]
शुक्रिया सुरजीत जी आभार बहुत बहुत।
वाह्ह्ह…अमित जी मंच संचालन के साथ अद्भुत कवित्व का परिचय दिया बहुत मोहक ।बहुत पसंद आयी आपकी लेखनी।
अपने उन्नति पथ पर यूँ ही अग्रसर रहे मेरी हार्दिक शुभकामनाएं जी।
आपका बहुत बहुत बहुत आभार श्वेता जी। आपकी शुभकामनायें मेरे लिये नैमतों की तरह हैं। आपका कैसे शुक्रिया कहें। कृतज्ञ हूँ । ऐसे ही हौसलाअफजाई करतीं रहें। नमन।
अरे नहीं अमित जी आपको शुक्रिया कहने के लिए शब्द ढूँढने की आवश्यकता नहीं आप की प्रतिभा मेरे शब्दों से परे है जी।सदा स्वस्थ्य एवं.प्रसन्न रहे जी।
निरुत्तर हूँ। क्या कहूँ…
ऐसा लगता है जैसे आप मेरी बस्ती मेरे घर आये
और हम हैं कि आपका इस्तक़बाल भी नही कर पाए।
आप जैसे बड़े रचनाकार का स्वाभाविक बड़प्पन है। आभार। नमन।
nice anchoring script but mai ek bat puchna chahungi aapse ki ganesh vandana ku rakhi gyi hh baba sahab ji ki jayanti k subharamh k liye
Thanks Again Amit ji…Our program has been completed successfully… your’s baba shaheb ambedkar ji script was very much supported and appreciated to me…धन्यवाद । आपके बाबा साहेब अम्बेडकर जी से सम्बंधित आलेख ने मुझे अपने कार्य में और प्रोत्साहित किया और आपसे जुड़े रहने के लिए एक माध्यम भी दिया।आगे और भी बहुत सीखना है आपसे। पुनः आभार आपका।।??
बहुत बहुत शुक्रिया मुकुल जी। आपकी प्रतिभा, हुनर, शैली और विश्वास ही आपको आंगें लेकर जाता है। उसी का पूर्णतः कमाल है। हमने तो महज चंद सुझाव आपको दिये। आपने सराहा। आपका आभार। जी इससे बेहतर और कोई बात नही हो सकता कि आप उड़ती बात से सदा जुड़े रहे। शुक्रिया मित्र।
मैं आम्बेडकर मिशनरी कार्यक्रमों का मंच संचालन करता हूं मैने अनेक कार्यक्रमों का सफल मंच संचालन किया है ।भगवान तथागत सम्यक सम्बुद्ध और बाबा साहेब अम्बेडकर जी के दर्शन पर आधारित कार्यक्रमों का संचालन करने में यह जानकारी काफी सहायक सिद्ध हो सकती हैं ।भवतु सब्ब मंगलमं ।नमो बुद्दाय जयभीम
आप जैसे प्रबुद्ध व्यक्तित्व का उडती बात पर पदार्पण उड़ती बात के लिये गौरव का विषय है। सराहना के लिये बहुत शुक्रिया बहुत आभार।
बुद्ध जयंती पर कोई सामग्री हो तो जरूर शेयर करे।समस्त जानकारी के लिए साधुवाद ।?
जी प्रयास करूंगा बौद्ध साहब। आपका बहुत बहुत आभार।
दिल चलते गया दिलबर चला गया ,साहिल पुकारता है कि समन्दर चला गया ,पर बात जो सही वह कहता नही कोई ,दुनियां से दलितों के पैगम्बर चला गया ।जयभीम
सर आपने इस सम्बंध में कोई पुस्तक लिखी हो तो जानकारी दें
आदरणीय अमित जी नमस्कार, मंच संचालन में हमे आपसे बहुत कुछ सीखने को मिला इसके लिये ह्र्दयतल से आपका हार्दिक आभार साथ ही आपसे विनम्र निवेदन है कि आप हमें राजनितिक मंच संचालन स्क्रिप्ट लिखकर लाभान्वित करे आपकी बड़ी कृपा होगी।
बहुत धन्यवाद श्रीकांत जी। जी अवश्य इस विषय पर कोई लेख लिखने का प्रयास करूंगा। आभार आपका
ह्र्दयतल से आभार आदरणीय
Sir, भाषण को प्रभावी ढंग से प्रस्तुत करने के लिये कुछ शानदार तुकबंदी का भी प्रबंध करें….
धन्यवाद
कमल किशोर राणा
कमल जी बहुत सुंदर आईडिया है। आप अगर एक कोई उदाहरण दे कर मुझे बता सकें तो अवश्य प्रयास कर सकता हूँ। बहुत आभार धन्यवाद मित्र